सीजी क्रांति न्यूज/भिलाई। छत्तीसगढ़ समेत देशभर में भरथरी विधा को एक अलग पहचान दिलाने वाली भरथरी कलाकार अमृता बारले का गुरूवार को शाम निधन हो गया। दुर्ग जिले की लोक कलाकार अमृता बारले ने 65 साल की उम्र में अंतिम सांस ली। बताया जा रहा है कि लंबे वक्त से वह बीमारी से जूझ रही थीं। अमृता बारले मिनीमाता राज्य अलंकरण सम्मान से राष्ट्रपति द्वारा सम्मानित राष्ट्रीय ख्यातिलब्ध भरथरी एवं पंथी कलाकार थी। उनके निधन से पूरे प्रदेश में शोक की लहर है।
बता दें कि अमृता बारले लोक कला के क्षेत्र में ख्यातिलब्ध कलाकार थी जिसने भरथरी को छत्तीसगढ के साथ पूरे देश में एक अमिट पहचान दिलाने में महत्वपूर्ण भूमिका निभाई। लोककला के क्षेत्र में उनके इस योगदान को देखते हुए राज्य सरकार ने उन्हे मिनीमाता राज्य अलंकरण सम्मान से नवाज था। अमृता बारले का जन्म सन् 2 मई 1958 में छत्तीसगढ के ग्राम- बठेना, वि.ख. पाटन, जिला दुर्ग में हुआ था। अमृता बारले के द्वारा छत्तीसगढ़ के ग्राम बठेना (दुर्ग) से 9 वर्ष की उम्र में सन् 1970 से 2023 तक कला के क्षेत्रसे अंतिम समय तक जुड़ी रही।