सीजी क्रांति/खैरागढ़। खैरागढ़ क्षेत्र में शिक्षकों की पदोन्नति का मामला भ्रष्टाचार की भेंट चढ़ गया है। इस पूरे मामले में विकासखंड शिक्षा अधिकारी और जिला शिक्षा अधिकारी कार्यालय की बड़ी लापरवाही सामने आई है। पैसों के लेनदेन को लेकर भी विकासखंड शिक्षा अधिकारी कार्यालय के लिपिकों पर दबी जुबान गंभीर आरोप लग रहे हैं। शिक्षक पदोन्नति सूची निरस्त होने के बाद 1998 से पदोन्नति की राह देख रहे शिक्षक भड़क गए।
पदोन्नति सूची निरस्त होने से नाराज शिक्षक शुक्रवार शाम को विधायक निवास पहुंचे।। विधायक दौरे पर थीं। उनकी अनुपस्थिति में उनके पीए ने शिक्षकों को ज्ञापन लिया। पदोन्नति सूची निरस्त किए जाने से प्रभावित शिक्षकों ने बताया कि सूची निरस्त करने की बजाए उसमें संशोधन किया जाना चाहिए था। पदोन्नति सूची जारी होने के बाद कई शिक्षकों ने नई पदस्थापना वाले स्कूल में ज्वॉनिंग भी कर ली है। सालों से पदोन्नति का इंतजार करने के बाद प्रशासनिक लापरवाही और तानाशाही तरीके रवैये से शिक्षकों के निराशा और गहरी नाराजगी है।
बता दें कि पदोन्नति के लिए विकास खंड स्तर पर कई शिक्षकों ने 40 हजार रूपए तक की रिश्वत लिए जाने के गंभीर आरोप लगा रहे हैं! जब यह मामला गर्माया तो संयुक्त रूप से पदोन्नति सूची जारी नहीं की गई। पदोन्नति का सिंगल आदेश जारी किया गया। उसके बाद जब यह मामला कलेक्टर डॉ. जगदीश कुमार सोनकर तक पहुंचा। बाद गुरूवार देर शाम पदोन्नति सूची निरस्त कर दी गई। अब यह मामला गर्माने लगा है।