सीजी क्रांति/रायपुर। छत्तीसगढ़ के दंतेवाड़ा जिले में बुधवार को अरनपुर थाना क्षेत्र में अरनपुर-समेली के बीच हुए आईईडी ब्लास्ट में 10 पुलिसकर्मी की शहादत के बाद नक्सलवाद जिंदा है और मजबूत है, यह तय हो चुका है। इसके पहले बड़ा हमला अप्रैल 2021 को बीजापुर जिले के तर्रेम थाना क्षेत्र के टेकलगुड़ा में हुई मुठभेड़ में 22 जवान शहीद और 35 से ज्यादा घायल हुए थे।
प्राप्त आंकड़ों के अनुसार छत्तीसगढ़ में राजनांदगांव जिला समेत बस्तंर संभाग के 8 जिले नक्सलग्रस्त है! 2011 से 2020 तक यहां 3,722 नक्सली हमले हुए, जिनमें 489 जवान शहीद हुए! नक्सलग्रस्त जिलों में राजनांदगांव जिला समेत बस्तर के कांकेर, दंतेवाड़ा, बीजापुर, नारायणपुर, सुकमा, बस्तर और कोंडागांव शामिल है। इनमें 2011, 2014, 2017 और 2018 में शहीदों का आंकड़ा 50 पार कर गया। इन 10 सालों मंे शहीदों की न्यूतम संख्या 22 सिर्फ 2019 में रही। वहीं अधिकतम संख्या 2011 में 80 रही। बात करें नक्सली हमले की तो इन 10 सालों में सर्वाधिक नक्सली हमले 2015 में हुए। वहीं दूसरे क्रम में 2011 में 465 हमले हुए।